Wednesday, 28 December 2016

घटेगी मांग, ₹25000 तक गिर सकता है सोना

साल 2016 कमोडिटी बाजार के लिए बेहद खास रहा। सोने और चांदी ने जहां पूरे बाजार को चौंकाया वहीं कच्चे तेल में निवेशकों को मालामाल किया। जवनरी से लेकर दिसंबर तक अगर सोने की चाल पर नजर डालें तो जुलाई तक सोना करीब 30 फीसदी का रिटर्न देने के बाद पूरे साल के दौरान मुश्किल से 10 फीसदी ऊपर है। जबकि चांदी भी साल के अंत में अपनी बढ़त काफी हद तक गंवा चुकी है। लेकिन कच्चे तेल की एकतरफा चाल रही है और 10 साल के निचले स्तर से क्रूड लगातार तेजी के मोड में है। आगे अब साल 2017 है, नए साल में कैसी रहेगी सोना-चांदी और क्रूड की चाल आइए जानते हैं।
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साल 2016 में सोने-चांदी की चाल की बात करें तो जनवरी में 10 ग्राम सोने का भाव 25000 रुपये था जो जुलाई में 33,000 रुपये और दिसंबर में 27,200 रहा। वहीं जनवरी में 1 किग्रा चांदी का भाव 33,000 रुपये था जो जुलाई में 47,500 रुपये और दिसंबर में 39,200 रहा। वहीं अगर साल 2016 में कच्चे तेल की चाल की बात करें तो जनवरी में 1 बैरल ब्रेंट क्रूड का भाव 27 डॉलर था जो जून में 52 डॉलर प्रति बैरल, जुलाई में 43 डॉलर और दिसंबर में 56 डॉलर के आसपास रहा।

साल 2016 में सोने ने 9 फीसदी, चांदी ने 18 फीसदी और कच्चे तेल ने 107 फीसदी रिटर्न दिया है। सोने के फंडामेंटल्स की बात करें तो दुनिया भर में सोने की मांग कमजोर है। अप्रैल के बाद ईटीएफ से करीब 600 करोड़ रुपये निकले हैं। डॉलर 14 साल की ऊंचाई पर है। वहीं 2017 में अमेरिका में 3 बार ब्याज दरें बढ़ने की उम्मीद है।

चांदी के फंडामेंटल की बात करें तो साल के ऊपरी स्तर से चांदी के भाव में करीब 20 फीसदी की गिरावट आई है। डॉलर में बढ़त से चांदी कीमतों पर दबाव बना हुआ है। इस साल भारत में चांदी की खपत करीब 20 फीसदी कम रही है। 2017 में चांदी की इंडस्ट्रियल डिमांड बढ़ने की उम्मीद है। वहीं कच्चे तेल की बात करें तो 2017 में ओपेक और गैर ओपेक देश उत्पादन घटाएंगे। क्रूड उत्पादन में 18 लाख बैरल कटौती का फैसला लिया गया है।

दुबई से एमिरेट्स एनबीडी के कमोडिटी मैनेजर धर्मेश भाटिया के मुताबिक नए साल में निवेश मांग घटेगी और शेयर बाजारों में तेजी आएगी। जिसके चलते अंतर्राष्ट्रीय बाजार में सोना 1050 डॉलर तक लुढ़क सकता है जबकि घरेलू बाजार में सोना 25,000 रुपये तक गिर सकता है। भारत में सोने की मांग 40 फीसदी घटने का अनुमान है।

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